भारत से दुश्मनी या ड्रैगन की मजबूरी, जानिए पाकिस्तान में चीन का कितना पैसा फंसा?
चीन हमेशा से पाकिस्तान का समर्थन करता आ रहा है भारत और पाकिस्तान के बीच जारी तनाव में भी उसने चीन का साथ दिया है. चलिए, आपको बताते हैं कि आखिर चीन पाकिस्तान का समर्थन क्यों करता है.

भारत और पाकिस्तान के बीच चल रहा तनाव फिलहाल सीजफायर के चलते शांत है. दुनिया में कुछ ऐसे देश हैं जो इस तनाव में भारत के साथ खड़े हैं और आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में भारत का समर्थन कर रहे हैं तो वहीं चीन, तुर्की सहित कुछ ऐसे देश भी हैं जो पाकिस्तान का खुलकर साथ दे रहे हैं. चलिए आपको विस्तार से बताते हैं कि आखिर भारत से दुश्मनी या कुछ मजबूरी है जिसके चलते चीन भारत का साथ न देकर हमेशा पाकिस्तान का साथ देता है और पाकिस्तानी आतंकियों का बचाव करता है.
चीन का निवेश
चीन ने पाकिस्तान में विभिन्न परियोजनाओं के अंदर भारी निवेश कर रखा है. ऐसे में अगर पाकिस्तान को कुछ होता है या भारत पाकिस्तान को भारी नुकसान पहुंचाने के लिए मिसाइलों से अटैक करता है तो चीन के इन प्रोजेक्ट को भारी नुकसान होने की संभावना है. China-Pakistan Economic Corridor में चीन ने करीब 65 बिलियन डॉलर का निवेश किया है. चीन पाकिस्तान आर्थिक गलियारा चीन के लिए काफी जरूरी है. चीन को इस गलियारे के जरिए पाकिस्तान के ग्वादर बंदरगाह से शिनजियांग तक सीधा मार्ग मिलता जिससे मिडिल ईस्ट से उसकी कनेक्टिविटी काफी बेहतर हो सकती है. इसके अलावा, यह चीन के यह चीन की 'बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव' परियोजना का हिस्सा है.
क्यों पाकिस्तान में फंसा है चीन
पाकिस्तान की स्थिति इस समय काफी खराब है. महंगाई दर काफी बढ़ गई है भारत के साथ तनाव के दौरान पाकिस्तान में चीनी के दाम 180 रुपये किलो पहुंच गए थे. बढ़ती महंगाई और घटते विदेशी मुद्रा भंडार के चलते पाकिस्तान, चीन के कर्ज को वापस नहीं कर पा रहा है. इसके अलावा चीन ने पाकिस्तान के जिन प्रोजेक्ट में निवेश किया है उनसे उसको कुछ ज्यादा रिटर्न मिल नहीं रहा है उसके ज्यादातर प्रोजेक्ट अधूरे चल रहे हैं. बलूच आर्मी चीन के लोगों के ऊपर हमले कर रही है. ग्वादर पोर्ट जैसी परियोजनाएं इसके चलते लटकी हुई है चीन ने यहां इंटरनेशनल एयरपोर्ट भी बनाया है जिससे अभी तक एक भी फ्लाइट ने उड़ान नहीं भरी है.
पाकिस्तान में चीनी हथियार
पाकिस्तान चीन के हथियारों जैसे कि J-10C, JF-17 थंडर लड़ाकू विमान, HQ-9 एयर डिफेंस सिस्टम, ड्रोन का बड़े पैमाने पर उपयोग करता है. ऐसे में अगर चीन पाकिस्तान की जगह भारत का समर्थन करता है तो पाकिस्तान उसका हथियार नहीं लेगा और चीन को इससे काफी नुकसान हो सकता है.
भारत के साथ दुश्मनी
भारत और चीन के रिश्ते हमेशा से खराब रहे हैं. चीन लद्दाख और अरुणाचल प्रदेश के कुछ हिस्से को अपना बताता है जिसको लेकर दोनों देशों के बीच अक्सर तनाव देखने को मिलते रहते हैं यह भी एक कारण है कि चीन भारत का समर्थन न करके पाकिस्तान का समर्थन करता है. भारत तेजी से उभरता वैश्विक बाजार बन रहा है अमेरिका के चीन पर टैरिफ के बाद अमेरिकी और बाकी देशों की कंपनियां भारत में निवेश करने का प्लान बना रही हैं. भारत की बढ़ती वैश्विक भूमिका को देखकर चीन को अच्छा नहीं लगता. reuters के अनुसार, भारत और पाकिस्तान के बीच चल रहे तनाव के बीच चीन भारत के भारतीय सैन्य क्षमताओं और रणनीतियों के बारे में महत्वपूर्ण खुफिया जानकारी प्राप्त कर रहा था जिससे भारत के साथ किसी विवाद के समय उसको फायदा हो सके.
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